पूर्वी साइबेरिया में स्थित और साल 1957 में सोवियत रूस के वैज्ञानिकों द्वारा खोजी गयी इस खदान को मिरनी माइन कहते है|
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1722 फ़ीट गहरी और 3900 फ़ीट चौड़ी इस खदान पर पहुंचना भी इतना आसान नहीं है क्यूंकि सालभर में यहाँ कम ही दिन ऐसे होते है जब यहाँ का मौसन ख़राब नहीं होता है|
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Mirny Mine का तापमान सर्दियों में इतना गिर जाता है कि गाड़ियों के ऑइल तक जम जाते है और टायर तक फट जाते है|
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इस खदान को खोदने के लिए कर्मचारियों ने जेट इंजन और डायनामाइट्स का इस्तेमाल किया था और रात के समय इन इंजिनों को ढक दिया जाता था, ताकि मशीने ख़राब ना हो जाए|
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यह उपलब्धि रूस को हीरों के उत्पादन में दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा देश बन गया| Mirny Mine से हर साल करीब 10 मिलियन कैरेट तक हीरा निकाला जाता था|
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यह खदान इतनी विशाल है कि हेलीकॉप्टर को इसके ऊपर से गुजरने पर पाबंदी लगा दी गयी है, क्यूंकि हवा के दबाव के कारण कई हेलीकॉप्टर इस खदान के अंदर समा चुके है|
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चूँकि यह खदान ड्रिलिंग एक्सप्लोरेशन पर बनायीं गयी थी और अपनी गहराई की सीमा के पास पहुँच चुकी थी, जिसकी वजह से साल 2004 में इस खदान को बंद कर दिया गया|